इरफान पठान. इंडियन क्रिकेट टीम के लिए खेल चुके क्रिकेटर. पठान भारत में कोरोना फैलने के बाद से ही लगातार लोगों की मदद कर रहे हैं. अब पठान की एक और दिल छू लेने वाली कहानी सामने आई है. ‘ESPN क्रिकइंफो’ में काम करने वाले रौनक कपूर ने एक ट्वीट के जरिए ये कहानी बताई.
रौनक ने ट्वीट किया,
‘6 जून को मेरे साथियों- सौरभ और शशांक की एक स्टोरी पढ़ने के बाद इरफान पठान ने मुझे फोन किया. उन्होंने चेन्नई स्थित जूतों का काम करने वाले आर भास्करन के बारे में क्रिकेट मंथली पर पढ़ा था. भास्करन IPL के दौरान होने वाली कमाई के न होने से काफी परेशान हैं, मुश्किल से गुजारा कर पा रहे हैं.
इरफान ने मुझसे भास्करन का नंबर मांगा. उन्होंने बताया नहीं कि क्यों चाहिए और मैंने पूछा भी नहीं. मैंने शशांक से नंबर लिया और तुरंत इरफान को फॉरवर्ड कर दिया. बाद में एक घंटे से ज्यादा बीतने के बाद उन्होंने मुझे मैसेज किया कि वो कोशिश कर रहे हैं, लेकिन भास्करन से बात नहीं हो पाई. मैंने अगले दिन वो मैसेज पढ़ा और रिप्लाई करना भूल गया.
आज मुझे ‘इंडियन एक्सप्रेस’ में वेंकट कृष्णा के आर्टिकल से पता चला कि इरफान पठान ने भास्करन को 25 हजार रुपये भेज दिए थे. IPL के दौरान भास्करन लगभग 25 हजार रुपये कमा लेते थे. इरफान ने इस बात का शोर नहीं मचाया, न क्रेडिट की इच्छा जताई. शुरुआत में उन तक पहुंचने में मिली नाकामी के बाद भी उन्होंने कोशिश जारी रखी. ये वही आदमी है, जिसे राइट विंग के लोग और आईटी सेल लगातार गालियां देते हैं, ट्रोल करते हैं.’
# मामला क्या था?
दरअसल क्रिकेट मंथली ने 5 जून को एक स्टोरी छापी थी. इसमें IPL से जुड़े उन लोगों से बात की गई थी, जिन पर अभी लोगों का ध्यान कम है. इसमें चियरलीडर्स, युवा क्रिकेटर्स के साथ भास्करन भी थे. खुद को चेपॉक का ऑफिशल Cobbler कहने वाले भास्करन कई साल से स्टेडियम के बाहर बैठते हैं. वे प्लेयर्स के जूतों, पैड, ग्लव्स इत्यादि की मरम्मत कर अपना जीवन-यापन करते हैं.
1993 से आज तक भास्करन ने चेपॉक में हुआ एक भी इंटरनेशनल मैच मिस नहीं किया है. पिछले 12 साल से वे चेन्नई सुपरकिंग्स प्लेयर्स के जूते, पैड, ग्लव्स, हेलमेट इत्यादि रिपेयर करने वाले ऑफिशल बंदे हैं. आम दिनों में वे चिदंबरम स्टेडियम के ठीक बाहर बैठते हैं.
With very little about humanity & acts of kindness to cheer you up these days, @IrfanPathan redeems some hope. pic.twitter.com/0PyPKtmhjC
— Raunak Kapoor (@RaunakRK) June 15, 2020
मैच और ट्रेनिंग वाले दिनों में वह ड्रेसिंग रूम के पास अपने साजो-सामान के साथ बैठते हैं. भास्करन बताते हैं कि एक दिन के काम के लिए तमिलनाडु क्रिकेट असोसिएशन (TNCA) उन्हें 1000 रुपये देता है. इसके अलावा प्लेयर्स उन्हें अलग से पैसे देते हैं. बाकी दिनों में भास्करन 300 से 500 रुपये रोज कमा लेते हैं. भास्करन ने बताया था कि पिछले IPL से उन्होंने 25,000 रुपये कमाए थे. यही आर्टिकल पढ़ने के बाद इरफान ने बिना किसी को बताए भास्करन को 25,000 रुपये भेज दिए.
# ट्रोल्स का मामला
रौनक ने जिन ट्रोल्स का ज़िक्र किया, वो आए दिन इरफान की टाइमलाइन पर देखने को मिल जाते हैं. हाल ही में उन्होंने रेसिज्म के बारे में ट्वीट किया था. इरफान ने लिखा था,
‘रेसिज्म चमड़ी के रंग तक ही सीमित नहीं है. दूसरे मज़हब के लोगों को किसी सोसाइटी में घर न खरीदने देना भी रेसिज्म है.’
इस ट्वीट को लेकर उन्हें खूब ट्रोल किया गया था. लेकिन इरफान ट्रोल्स से डरे नहीं. उन्होंने साफ किया कि वो एक भारतीय हैं और अपने मन की बात करने से पीछे नहीं हटेंगे.
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